4 एयरबेस और 30 से ज्यादा विमान किए ध्वस्त... यूक्रेन का रूस पर सबसे बड़ा प्रहार, पुतिन अब कैसे लेंगे बदला?
Russia ukraine war: इस्तांबुल में शांति वार्ता से ठीक पहले यूक्रेन ने रूस को एक ऐसा करारा झटका दिया है जिसकी गूंज लंबे समय तक सुनाई देगी। यूक्रेनी सेना ने रूस के चार प्रमुख एयरबेस पर सुनियोजित हमले करके 30 से अधिक युद्धक विमानों को नष्ट कर दिया, जिसमें रूस के टीयू-95 और टीयू-22एम3 जैसे रणनीतिक बमवर्षक भी शामिल हैं। यह हमला न सिर्फ रूसी वायुसेना के लिए एक बड़ा झटका है, बल्कि यह साबित करता है कि यूक्रेन अब रूस की गहराई में घुसकर उसे नुकसान पहुंचाने की क्षमता रखता है। सवाल यह है कि क्या पुतिन इस अपमान को बिना जवाब दिए छोड़ देंगे?
कैसे यूक्रेन ने रूस के 'अजेय' एयर डिफेंस को ध्वस्त किया?
CNN की एक रिपोर्ट के मुताबिक, यूक्रेन के इस हमले में रूस को लगभग 7 अरब डॉलर का नुकसान हुआ है और उसके 34% रणनीतिक मिसाइल वाहक विमानों को क्षति पहुंची है। सबसे चौंकाने वाली बात यह है कि यूक्रेन ने यह हमला रूस के उन एयरबेस पर किया जो उसकी सीमा से 320 से 4,500 किलोमीटर दूर स्थित हैं।
यूक्रेनी सेना ने इस ऑपरेशन को 'स्पाइडरवेब' नाम दिया है और दावा किया है कि इसकी योजना डेढ़ साल से बनाई जा रही थी। हमले में 117 ड्रोन का इस्तेमाल किया गया, जिन्हें लकड़ी के बने मोबाइल घरों में छिपाकर ट्रकों के जरिए रूस के अंदर पहुंचाया गया था।
क्या यूक्रेन ने पुतिन को और अड़ियल बना दिया?
इस हमले के बाद अब सवाल यह उठ रहा है कि क्या इस्तांबुल में होने वाली शांति वार्ता प्रभावित होगी? यूक्रेन ने वार्ता में पूर्ण युद्धविराम, कैदियों की अदला-बदली और बंधकों की रिहाई की मांग की है, लेकिन रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन पहले से ही शांति वार्ता से बचते नजर आ रहे थे। अब जबकि यूक्रेन ने रूस को सीधे चुनौती देते हुए उसके एयरबेस नष्ट कर दिए हैं, पुतिन के लिए वार्ता की मेज पर बैठना और भी मुश्किल हो गया है। शनिवार रात को ही रूस ने जवाबी कार्रवाई करते हुए यूक्रेन पर 472 ड्रोन हमले किए और मिसाइल दागे, जिसमें 12 यूक्रेनी नागरिकों की मौत हो गई।
रूस का बदला कितना घातक होगा?
अब सबकी नजरें पुतिन पर टिकी हैं कि वह यूक्रेन के इस हमले का जवाब कैसे देंगे। क्या रूस यूक्रेन के शहरों पर और भी भीषण बमबारी करेगा? या फिर वह नए सिरे से यूक्रेन के ऊर्जा ढांचे को निशाना बनाएगा? कुछ विश्लेषकों का मानना है कि रूस इस हमले के बाद शांति वार्ता को पूरी तरह से ठुकरा सकता है और युद्ध को और भी भयानक स्तर पर ले जा सकता है। दूसरी ओर, यूक्रेन ने साफ कर दिया है कि वह रूस की किसी भी आक्रामकता का मुंहतोड़ जवाब देने के लिए तैयार है। अब यह देखना बाकी है कि क्या पुतिन इस हमले को नजरअंदाज करेंगे या फिर युद्ध का एक नया और खतरनाक दौर शुरू होगा।
यह भी पढ़ें:
CDS अनिल चौहान के बयान पर हमलावर हुआ विपक्ष, क्या मोदी सरकार ने ऑपरेशन सिंदूर पर छुपाए थे तथ्य?