उत्तराखंड में जमीन खरीद पर रोक! बाहरी लोगों के लिए सरकार का बड़ा फैसला, जानिए क्या है वजह
Uttarakhand Land Act: उत्तराखंड सरकार ने राज्य में भूमि खरीद से जुड़े नियमों को सख्त करते हुए ‘भूमि कानून (संशोधन विधेयक)’ को कैबिनेट में मंजूरी दे दी है। नए कानून के तहत राज्य के 13 में से 11 पहाड़ी जिलों में अब बाहरी लोग (राज्य से बाहर के नागरिक) कृषि और बागवानी भूमि नहीं खरीद सकेंगे। (Uttarakhand Land Act) यह कदम राज्य की सांस्कृतिक पहचान, संसाधनों और स्थानीय नागरिकों के अधिकारों की रक्षा के लिए उठाया गया है। उत्तराखंड के इन 11 जिलों में अब बाहरी लोग नहीं खरीद सकेंगे जमीन, नए कानून को मिली मंजूरी।
जानिए किन जिलों में लागू होगा प्रतिबंध?
नए भूमि कानून के तहत देहरादून, पौड़ी गढ़वाल, टिहरी गढ़वाल, उत्तरकाशी, रुद्रप्रयाग, चमोली, नैनीताल, पिथौरागढ़, चंपावत, अल्मोड़ा और बागेश्वर जिलों में बाहरी नागरिक अब कृषि और बागवानी भूमि नहीं खरीद सकेंगे। केवल हरिद्वार और ऊधम सिंह नगर जिलों को इस कानून से अवसर के रूप में छूट दी गई है, जहां बाहरी लोग अब भी कृषि भूमि खरीद सकते हैं।
क्यों पड़ी इसकी जरूरत?
मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी का कहना है कि उत्तराखंड (यूपी जमींदारी विनाश और भूमि व्यवस्था अधिनियम, 1950) संशोधन विधेयक 2025 पर राज्यपाल की मुहर लगने के साथ ही प्रदेश में सशक्त भू-कानून लागू हो गया है। उन्होंने कहा, यह कानून राज्य में डेमोग्राफिक चेंज की कोशिशें को भी रोकेगा। उत्तराखंड के लोग पिछले कई सालों से इस कानून की मांग कर रहे थे ताकि प्रदेश में हो रहे डेमोग्राफिक बदलाव को रोका जा सके। इस बिल के कानून बन जाने के बाद अब वह काफी खुश नजर आ रहे हैं।
Uttarakhand Chief Minister Pushkar Singh Dhami said that continuous action is also being taken against those who violate the provisions of the Land Act. He said that a comprehensive campaign is being run and such lands are being vested in the state government. With the approval… pic.twitter.com/msd9Ez2yfJ
— ANI UP/Uttarakhand (@ANINewsUP) May 1, 2025
शपथ पत्र के उल्लंघन पर जब्त होगी जमीन
नए कानून लागू हो जाने के बाद नगर निकाय सीमा के बाहर के दूसरे राज्य के लोग केवल 250 वर्ग मीटर जमीन ही खरीद सकेंगे। खरीदार को रजिस्ट्री कराते समय शपथ पत्र जमा कराना होगा। नियमानुसार शपथ पत्र का उल्लंघन होने पर जमीन को सीधा जब्त कर लिया जाएगा। कानून के जरिए सरकार ने राज्य में भूमि लेने के मानक तय किए हैं। राज्य में प्रतिबंधित 11 जिलों में उद्योग, स्कूल, अस्पताल, होटल, कालेज आदि के लिए सख्त प्रावधानों के साथ जमीन उपलब्ध होगी। हालांकि, इन कार्यों के कृषि और उधान की जमीन का इस्तेमाल नहीं किया जाएगा।
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