Karnataka Controversy: एक्ट्रेस तमन्ना भाटिया पर कर्नाटक में सियासी बवाल ! क्या है वजह?
Tamannaah Bhatia Karnataka Controversy: मशहूर एक्ट्रेस तमन्ना भाटिया कर्नाटक में सियासी बबाल की वजह बन गई हैं। कर्नाटक सरकार ने एक्ट्रेस तमन्ना भाटिया को लेकर एक बड़ा फैसला लिया है। (Tamannaah Bhatia Karnataka Controversy) कर्नाटक सरकार के इस फैसले की अब आलोचना हो रही है। कई कन्नड संगठन और विपक्ष के नेता सरकार के इस फैसले पर सवाल उठा रहे हैं और कर्नाटक सरकार की आलोचना कर रहे हैं। आखिर क्या है कर्नाटक सरकार का फैसला? इस पर सियासी बबाल क्यों मचा है? जानिए...
तमन्ना भाटिया से सियासत में उबाल
कर्नाटक में अभिनेत्री तमन्ना भाटिया को लेकर सियासी बबाल मचा हुआ है। दरअसल, कर्नाटक सरकार ने एक्ट्रेस तमन्ना भाटिया को मैसूर सैंडल सोप का चेहरा बनाया है। इसके लिए एक्ट्रेस तमन्ना भाटिया के साथ दो साल के लिए करीब 6 करोड़ का अनुबंध किया गया है। मगर मैसूर सैंडल सोप के विज्ञापन के लिए एक्ट्रेस तमन्ना भाटिया को चेहरा बनाने पर कर्नाटक में सियासत में उबाल आ गया है।
कर्नाटक में सियासी बबाल क्यों ?
कन्नड संगठन और विपक्ष के नेता कर्नाटक सरकार की ओर से एक्ट्रेस तमन्ना भाटिया को मैसूर सैंडल सोप का चेहरा बनाए जाने से नाराज हैं। विपक्ष की ओर से कर्नाटक सरकार के इस फैसले का जमकर विरोध किया जा रहा है। कर्नाटक की विरासत से जुड़े मैसूर सैंडल सोप के विज्ञापन के लिए गैर-कन्नड़ सेलिब्रिटी को चुनने पर सवाल खड़े किए जा रहे हैं। विपक्ष के नेताओं का कहना है कि यह क्षेत्रीय गौरव के अपमान का मामला है।
मैसूर सैंडल सोप कितना पुराना?
मैसूर सैंडल सोप कर्नाटक की काफी पुरानी विरासत है। मैसूर सैंडल सोप का उत्पादन सबसे पहले 1916 में शुरु हुआ था। मैसूर के महाराजा नलवाड़ी कृष्णराज वोडेयार और दीवान सर एम विश्वेश्वरैया ने सरकार की तरफ से चंदन के तेल का कारखाना स्थापित किया। इसके बाद 1918 में मैसूर सैंडल सोप मार्केट में आया। अब मैसूर सैंडल सोप दक्षिण भारत का पॉपुलर प्रोडक्ट बन चुका है। 2016 में मैसूर सैंडल सोप को 100 साल पूरे हो चुके हैं।
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