क्या दुनिया में तेजी से बढ़ रही मुस्लिम आबादी? ताजा रिपोर्ट में हुए चौंकाने वाले खुलासे!
Muslims Population in World: प्यू रिसर्च सेंटर की एक हालिया रिपोर्ट के अनुसार, बीते दशक (2010-2020) में वैश्विक स्तर पर मुस्लिम आबादी में सबसे अधिक वृद्धि दर्ज की गई, जबकि भारत सहित कई देशों में हिंदू आबादी का अनुपात कम हुआ है। इस अवधि में मुस्लिम आबादी में 34.7 करोड़ की वृद्धि हुई, जो किसी भी अन्य धार्मिक समूह की तुलना में सबसे अधिक है। विशेष रूप से भारत में मुस्लिम आबादी 3.56 करोड़ बढ़ी है।
रिपोर्ट के लिए 2700 से अधिक जनगणनाओं और सर्वेक्षणों का विश्लेषण किया गया, जिसमें पाया गया कि सभी धार्मिक समूहों की आबादी में वृद्धि हुई है। हालांकि, बौद्ध आबादी में कमी देखी गई, जो एकमात्र ऐसा धार्मिक समूह है, जिसकी जनसंख्या 2020 में 2010 की तुलना में कम हुई।
दुनिया भर में कहां है मुस्लिम आबादी?
दुनियाभर में मुस्लिम आबादी अब लगभग 2 अरब हो गई है, जो वैश्विक आबादी का 25.6% है, जिसमें 1.8% की वृद्धि दर्ज की गई। इसके विपरीत, किसी भी धर्म को न मानने वालों की हिस्सेदारी 24.2% हो गई है।
इधर भारत में 2010 में हिंदू आबादी 80% थी, जो 2020 में घटकर 79.4% रह गई। वहीं, मुस्लिम आबादी 14.3% से बढ़कर 15.2% हो गई। ईसाई आबादी में भी मामूली कमी आई, जो 2010 में 2.3% से घटकर 2020 में 2.2% हो गई। अन्य धर्मों को मानने वालों की हिस्सेदारी 2.7% से घटकर 2.5% रह गई।
भारत की आबादी कहां पहुंच जाएगी?
संयुक्त राष्ट्र की जनसांख्यिकी रिपोर्ट के अनुसार, भारत की आबादी 2025 के अंत तक 1.46 अरब तक पहुंच सकती है, जिससे यह दुनिया का सबसे अधिक आबादी वाला देश बना रहेगा। हालांकि, भारत की प्रजनन दर रिप्लेसमेंट लेवल से नीचे है, और इसे मध्यम आय वाले देशों की श्रेणी में रखा गया है।
हिंदू आबादी में वैश्विक और क्षेत्रीय बदलाव
2010 से 2020 तक वैश्विक हिंदू आबादी में 12% की वृद्धि हुई, जो 1.1 अरब से बढ़कर 1.2 अरब हो गई। हालांकि, वैश्विक आबादी में हिंदुओं का अनुपात स्थिर रहा, क्योंकि गैर-हिंदू आबादी भी समान दर से बढ़ी। भारत, नेपाल, पाकिस्तान और बांग्लादेश जैसे दक्षिण एशियाई देशों में हिंदू आबादी के अनुपात में कमी देखी गई, लेकिन यह बदलाव 5% से अधिक नहीं है। भारत में ईसाई और अन्य धर्मों को मानने वालों की आबादी में भी कमी दर्ज की गई।
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