घर में घुसे, मिसाइलें दागी, मिट्टी में मिलाए आतंकी ठिकाने ...क्या 1971 से भी प्रचंड था ऑपरेशन सिंदूर?
Operation Sindoor : जब 6 मई की रात देश की आवाम चैन की नींद सो रही थी तो हमारे जवान पड़ोसी देश से उसकी कायराना हरकतों का हिसाब बराबर कर रहे थे. बीते मंगलवार देर रात भारतीय सेना एक ऐसे मिशन को अंजाम दे रही थी जिसकी गूंज सरहद पार पूरे पाकिस्तान में सुनाई दी. जी हां, जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में 22 अप्रैल को हुए आतंकी हमले के बाद से मंगलवार की रात पाकिस्तान के लिए कयामत की रात से कम कुछ नहीं थी.
भारत ने आधी रात के बाद अपना बदला ले लिया. पड़ोसी देश की इस कायराना हरकत का हिंद की सेना ने मुंहतोड़ जवाब घर में घुसकर दिया. हमारे शूरवीर जवानों ने ऑपरेशन सिंदूर के जरिए पाकिस्तान और पीओके में 9 आतंकी ठिकानों पर जमकर मिसाइलें मारी 100 से ज्यादा आतंकियों का खात्मा कर 26 मौतों का बदला लिया.
बता दें कि भारत की ये जवाबी कार्रवाई पहलगाम हमले के 15 दिन बाद की गई है जिसका नाम दिया गया ‘ऑपरेशन सिंदूर’. वहीं अब सेना के जानकार इस हमले को 1971 की भारत-पाक जंग और बालाकोट एयरस्ट्राइक से भी बड़ा हमला बता रहे हैं. आइए आपको समझाते हैं पूरी कहानी.
उरी, बालाकोट सभी से हटके है ऑपरेशन सिंदूर
दरअसल ऑपरेशन सिंदूर के तहत किए गए हमले के बाद चर्चा है कि भारत ने पहलगाम के साथ ही उरी और पुलवामा हमले से लेकर कई बदले एक साथ लिए हैं. वहीं 2016 में हमले के बाद उरी सर्जिकल स्ट्राइक की गई और 2019 में बालाकोट एयरस्ट्राइक में भारत ने आतंक के आकाओं को मुंहतोड़ जवाब दिया था.
वहीं अब बताया जा रहा है कि ऑपरेशन सिंदूर पहले के सभी ऑपरेशन से बड़ा और पूर्ण तैयारी के साथ थी. इस बार भारतीय सेना ने पूरी तैयारी के साथ उन ठिकानों को टारगेट किया जहां आतंकियों के सालों पुराने ठिकाने थे.
अब तक का सबसे बड़ा प्रहार
बता दें कि ऑपरेशन सिंदूर के बाद CNN की रिपोर्ट का दावा है कि ये भारत की अब तक की सबसे गहरी और मजबूत कार्रवाई है जहां भारत के जवान पाकिस्तान की अनडिस्प्यूटेड टेरिटरी तक पहुंचे हैं और उन हिस्सों में मिसाइल दागी हैं जो किसी भी तरह से विवादित नहीं है और पाकिस्तान के ही हैं. दूसरे शबदों में कहें तो पहली बार भारत ने पाकिस्तान के मुख्य प्रांत पंजाब तक मिसाइलें दागी है.
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