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जम्मू: बस अटैक केस में NIA का कई जगह छापा, हमले में 9 लोगों की गई थी जान

यह हमला 9 जून को हुआ था, जिसमें 9 लोगों की जान चली गई थी और कई अन्य घायल हुए थे।
10:23 AM Sep 27, 2024 IST | Vibhav Shukla
यह हमला 9 जून को हुआ था, जिसमें 9 लोगों की जान चली गई थी और कई अन्य घायल हुए थे।
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राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एनआईए) ने जम्मू-कश्मीर के रियासी जिले में हुए बस हमले के मामले में शुक्रवार को दो जिलों में सात जगहों पर छापे मारे। यह हमला 9 जून को हुआ था, जिसमें 9 लोगों की जान चली गई थी और कई अन्य घायल हुए थे। एनआईए ने जिन स्थानों पर तलाशी ली, वे हाइब्रिड आतंकवादियों और ओवर-ग्राउंड वर्करों से जुड़े बताए जा रहे हैं।

घटना की जानकारी

9 जून को माता वैष्णो देवी मंदिर के दर्शन के लिए जा रही श्रद्धालुओं से भरी एक बस पर आतंकवादियों ने हमला किया। यह घटना शाम करीब 6:10 बजे रियासी जिले के तेरयाथ गांव में हुई, जब बस शिव खोड़ी मंदिर से लौट रही थी। हमले के बाद बस खाई में गिर गई, जिससे 9 लोगों की मौत हो गई और 41 लोग गंभीर रूप से घायल हो गए।

 50 लोगों को हिरासत में लिया गया

इस हमले के बाद से एनआईए ने मामले की गंभीरता को देखते हुए जांच शुरू की और गृह मंत्रालय ने 17 जून को इसे एनआईए को सौंप दिया। हमले के सिलसिले में अब तक 50 लोगों को हिरासत में लिया गया है, जिनमें राजौरी के हाकम खान भी शामिल हैं। उन पर आरोप है कि उन्होंने आतंकवादियों को भोजन, पनाह और रसद मुहैया कराने के साथ-साथ हमले की तैयारी में मदद की।

लश्कर-ए-तैयबा का नाम आया सामने

हमले की जिम्मेदारी पहले प्रतिबंधित लश्कर-ए-तैयबा की शाखा, द रेजिस्टेंस फ्रंट (TRF) ने ली थी, लेकिन बाद में उन्होंने इससे पलटते हुए किसी भी जिम्मेदारी से इनकार कर दिया। एनआईए ने पहले भी राजौरी में हाइब्रिड आतंकवादियों और उनके ओवरग्राउंड सहयोगियों के ठिकानों पर छापेमारी की थी।

आतंकी नेटवर्क के पर्दाफाश की योजना

यह हमला जम्मू-कश्मीर में आतंकवादी गतिविधियों की बढ़ती समस्या को उजागर करता है। स्थानीय प्रशासन और सुरक्षा एजेंसियों की तरफ से इस तरह की घटनाओं को रोकने के लिए लगातार प्रयास किए जा रहे हैं। एनआईए के छापे इस दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम हैं, जिससे यह उम्मीद की जा रही है कि आतंकवादियों के नेटवर्क का पर्दाफाश किया जा सकेगा।

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