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मेनोपॉज से जुडी परेशानियों को दूर करने में कारगर हैं ये तरीके, इस तरीके से दूर होंगी दिक्कतें

मेनोपॉज' एक यूनानी शब्द है, जिसका अर्थ है 'मेनो' यानी महीना और 'पॉज' यानी रुकना, जिसका मतलब है मासिक धर्म चक्र रुक जाना।
01:12 PM May 01, 2025 IST | Jyoti Patel
Menopause Problems

Menopause Problems: 'मेनोपॉज' एक यूनानी शब्द है, जिसका अर्थ है 'मेनो' यानी महीना और 'पॉज' यानी रुकना, जिसका मतलब है मासिक धर्म चक्र का रुक जाना। यह उम्र का वह पड़ाव है जब शरीर में प्रजनन के लिए ज़िम्मेदार एस्ट्रोजन का उत्पादन कम हो जाता है और मासिक धर्म आना बंद हो जाता है। हर महीने होने वाले पीरियड्स के समाप्त होने की प्रक्रिया ही रजोनिवृत्ति कहलाती है। महिलाओं के जीवन में 40 वर्ष की आयु के बाद मेनापॉज का समय शुरू होता है, जो कई वर्षों तक चल सकता है। यह महिलाओं के लिए काफ़ी मुश्किलों भरा समय होता है क्योंकि इस दौरान उनके शरीर और मन में कई तरह के परिवर्तन आते हैं। हालाँकि यह एक प्राकृतिक प्रक्रिया है जिसे रोका या बंद नहीं किया जा सकता है, लेकिन कुछ उपायों को अपनाकर इसकी पीड़ा और कठिनाई को ज़रूर कम किया जा सकता है। आइए आज जानते हैं कि रजोनिवृत्ति के दौरान शरीर में क्या-क्या बदलाव आते हैं और किन तरीकों से रजोनिवृत्ति की समस्याओं को कम किया जा सकता है।

मेनापॉज से जुडी परेशानियां (Menopause Problems)

मेनोपॉज का पूरा समय आमतौर पर 40 से 50 वर्ष की आयु के बीच होता है। इससे पहले पेरिमेनोपॉज की अवस्था आती है, जो रजोनिवृत्ति की शुरुआत का संकेत देती है। इस दौरान शरीर में कई प्रकार के लक्षण दिखाई देते हैं। इन लक्षणों में मासिक धर्म का अनियमित होना प्रमुख है। कभी पीरियड्स समय से पहले आ जाते हैं, तो कभी देर से। ऐसा भी होता है कि एक महीने में दो बार पीरियड्स आ जाते हैं या दो महीनों में केवल एक बार। पीरियड्स में रक्तस्राव भी कभी ज़्यादा होता है तो कभी कम। ऐसे में महिलाएँ इस बदलाव के कारण तनाव में आ जाती हैं और उनकी झुंझलाहट बढ़ जाती है।

अधिक रक्तस्राव के कारण महिलाओं को इस दौरान खून की कमी (एनीमिया) भी हो सकती है। इसके अतिरिक्त, योनि में सूखापन और खुजली, बालों का कमज़ोर होना और झड़ना, स्तनों का ढीला पड़ जाना, यौन इच्छा में कमी, जोड़ों में दर्द, अनियमित दिल की धड़कन, हड्डियों का कमज़ोर होना, वज़न बढ़ना, त्वचा का लचीलापन कम होना जैसी समस्याएँ भी सामने आती हैं। इसके अलावा, कई तरह के मानसिक बदलाव जैसे मूड में अचानक परिवर्तन, चिड़चिड़ापन, उदासी, गर्मी लगना (हॉट फ्लेशेज), और अवसाद आदि भी दिखाई देते हैं।

इन तरीको से कम हो सकती है मेनोपॉज की परेशानियां

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