Dhanteras 2025: कल है धनतेरस, देश भर में रहेगी खरीदारी की धूम
Dhanteras 2025: पूरे देश में त्योहारों का उत्साह छा चुका है, और कल - शनिवार, 18 अक्टूबर को धनतेरस का त्योहार मनाया जाएगा जो दिवाली उत्सव का पहला और सबसे बहुप्रतीक्षित दिन है। इस दिन, लाखों भारतीय सोने, चाँदी और नए घरेलू सामान की खरीदारी के लिए निकलते हैं, क्योंकि ऐसा माना जाता है कि इससे समृद्धि, सौभाग्य और देवी लक्ष्मी और भगवान धन्वंतरि (Dhanteras 2025) का आशीर्वाद मिलता है। चमचमाती ज्वैलरी की दुकानों से लेकर चहल-पहल वाले बाज़ारों तक, देश का हर कोना खरीदारी की भारी भीड़ के लिए तैयार है।
धनतेरस पर खरीदारी का महत्व
धनतेरस, जो दो शब्दों "धन" अर्थात धन और "तेरस" अर्थात तेरहवें दिन से मिलकर बना है, कार्तिक माह के कृष्ण पक्ष की तेरहवीं तिथि को पड़ता है। हिंदू पौराणिक कथाओं के अनुसार, आयुर्वेद और स्वास्थ्य के देवता भगवान धन्वंतरि समुद्र मंथन के दौरान अमृत कलश लेकर समुद्र से प्रकट हुए थे। इस प्रकार, धनतेरस केवल धन ही नहीं, बल्कि अच्छे स्वास्थ्य और लंबी आयु का भी प्रतीक है।
ऐसा माना जाता है कि इस दिन कीमती धातुएँ, बर्तन और शुभ वस्तुएँ खरीदने से व्यवसाय और पारिवारिक जीवन में समृद्धि और सफलता मिलती है। यह नए उद्यम शुरू करने या बड़ी खरीदारी करने के लिए भी सबसे अच्छा दिन माना जाता है।
त्योहारी ऊर्जा से बाज़ार हैं गुलज़ार
जैसे-जैसे धनतेरस नज़दीक आ रहा है, दिल्ली, मुंबई, जयपुर, अहमदाबाद और कोलकाता जैसे शहरों के प्रमुख बाज़ारों में रिकॉर्ड तोड़ भीड़ देखी जा रही है। सोने-चाँदी की दुकानें त्योहारी रोशनी से सजी हुई हैं और धनतेरस पर विशेष छूट दे रही हैं। लोकप्रिय आभूषण ब्रांडों और ऑनलाइन प्लेटफ़ॉर्म ने धनतेरस 2025 के लिए आकर्षक ऑफ़र लॉन्च किए हैं, जिनमें सोने के सिक्के, चाँदी की मूर्तियाँ और डिज़ाइनर आभूषणों पर छूट शामिल है।
बर्तन की दुकानों, इलेक्ट्रॉनिक्स स्टोर और ऑटोमोबाइल शोरूम में भी भारी माँग देखी जा रही है। कई लोग पारंपरिक धातुओं के साथ-साथ स्मार्ट घरेलू उपकरणों, गैजेट्स और पर्यावरण-अनुकूल सजावट की वस्तुओं जैसी आधुनिक खरीदारी को प्राथमिकता दे रहे हैं।
धनतेरस 2025 पर क्या खरीदें
अगर आप सोच रहे हैं कि इस धनतेरस घर क्या लाएँ, तो यहाँ कुछ शुभ वस्तुओं की सूची दी गई है जो धन और सकारात्मकता को आकर्षित करती हैं:
सोना और चाँदी: देवी लक्ष्मी की तस्वीर वाला एक छोटा सा सोने या चाँदी का सिक्का भी खरीदना शुभ माना जाता है।
बर्तन: पीतल, तांबे या स्टील के बर्तन समृद्धि का प्रतीक हैं। इन्हें घर लाने से पहले अनाज से भरने की प्रथा है।
गोमती चक्र और कौड़ी: कहा जाता है कि ये पवित्र वस्तुएँ नकारात्मकता को दूर करती हैं और सफलता को आकर्षित करती हैं।
झाड़ू: स्वच्छता और घर से दरिद्रता को दूर करने का प्रतीक है।
दीये और मूर्तियाँ: आगामी दिवाली पूजा के लिए मिट्टी के दीये और लक्ष्मी-गणेश की मूर्तियाँ अवश्य खरीदें।
ऑनलाइन शॉपिंग और डिजिटल भुगतान में वृद्धि
2025 में, डिजिटल शॉपिंग ने धनतेरस उत्सव में एक नया आयाम जोड़ दिया है। अमेज़न, फ्लिपकार्ट और तनिष्क ऑनलाइन जैसे ई-कॉमर्स प्लेटफ़ॉर्म तत्काल डिलीवरी विकल्पों के साथ विशेष धनतेरस डील्स दे रहे हैं। बहुत से लोग अब ई-गोल्ड स्कीम या सॉवरेन गोल्ड बॉन्ड के माध्यम से डिजिटल रूप से सोना खरीदना पसंद करते हैं।
इसके अलावा, इस त्योहारी अवधि के दौरान UPI और डिजिटल वॉलेट भुगतान में भारी वृद्धि देखी जा रही है, जो कैशलेस उत्सवों की ओर बदलाव का संकेत है। परंपरा और तकनीक के इस मिश्रण ने धनतेरस को पहले से कहीं अधिक सुलभ और सुविधाजनक बना दिया है।
पर्यावरण-अनुकूल और जागरूक खरीदारी का चलन
इस साल एक और उभरता हुआ चलन टिकाऊ खरीदारी का है। कई शहरी परिवार प्लास्टिक की बत्तियों, पुन: प्रयोज्य बर्तनों और स्थानीय रूप से निर्मित हस्तशिल्प की बजाय मिट्टी के दीयों को तरजीह दे रहे हैं। यह बदलाव न केवल स्थानीय कारीगरों का समर्थन करता है, बल्कि "हरित दिवाली" मनाने के व्यापक विचार के भी अनुरूप है।
यह भी पढ़ें: Dhanteras 2025: धनतेरस 18 अक्टूबर को, जानें कैसा होगा आपकी राशि पर प्रभाव
.